रांची। राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू 31 जुलाई से दो दिवसीय दौरे पर झारखंड पहुंच रही हैं। इस दौरान वे देवघर, रांची और धनबाद का भ्रमण करेंगी। राष्ट्रपति के आगमन को लेकर राज्य प्रशासन ने कमर कस ली है। मंगलवार को मुख्य सचिव अलका तिवारी की अध्यक्षता में उच्चस्तरीय समीक्षा बैठक आयोजित की गई, जिसमें दौरे से जुड़े सभी आवश्यक प्रबंधों की गहन समीक्षा की गई। मुख्य सचिव ने साफ कहा कि राष्ट्रपति के प्रवास को हर दृष्टिकोण से स्मरणीय और भव्य बनाना है। सभी विभागों को उनकी ज़िम्मेदारियाँ तय करते हुए निर्देश दिया गया कि व्यवस्था में कोई कमी नहीं रहनी चाहिए। उन्होंने पूर्व में स्थगित हुए जून के प्रस्तावित दौरे की तैयारियों की याद दिलाते हुए स्पष्ट किया कि उस समय जो निर्देश दिए गए थे, वे इस बार भी लागू होंगे। देवघर में सावन के महीने में कांवरियों की भीड़ को देखते हुए राष्ट्रपति के एयरपोर्ट से एम्स तक पहुँचने के लिए वैकल्पिक मार्ग सुनिश्चित किया गया है ताकि श्रद्धालुओं को कोई असुविधा न हो। राष्ट्रपति देवघर एम्स के पहले दीक्षांत समारोह में शामिल होंगी और फिर धनबाद में आईआईटी-आईएसएम के दीक्षांत समारोह को भी संबोधित करेंगी। बैठक में तय किया गया कि पूरे दौरे की जिम्मेदारी संबंधित विभागों के नोडल पदाधिकारियों के हवाले होगी। वाणिज्य कर विभाग के सचिव अमिताभ कौशल और आईजी अखिलेश कुमार झा को निगरानी की मुख्य जिम्मेदारी सौंपी गई है। सूचना एवं जनसंपर्क विभाग को पब्लिक एड्रेस सिस्टम की ज़िम्मेदारी दी गई है। देवघर, रांची और धनबाद के उपायुक्तों ने राष्ट्रपति के प्रवास से जुड़े विस्तृत कार्यक्रमों का ब्लू प्रिंट साझा किया, जिसमें आगवानी से लेकर विदाई तक की हर बारीकी का उल्लेख है। एयरपोर्ट पर रेड कार्पेट स्वागत, बुके, राष्ट्रगान, कारकेड और आउट राइडर्स की व्यवस्था, फोटोग्राफरों के लिए खुली जीप, बैगेज वैन, सुरक्षा इंतजाम और मंच संचालन से जुड़े सभी पहलुओं पर समीक्षा के बाद ज़िम्मेदारियां तय कर दी गई हैं। इसके अलावा राष्ट्रपति के साथ आने वाले प्रतिनिधियों के ठहरने और खानपान की व्यवस्था को भी प्राथमिकता दी गई है। कार्यक्रम स्थलों पर चिकित्सकीय सुविधा, स्वच्छ पेयजल, शौचालय और अग्निशमन के इंतजामों को भी दुरुस्त करने के निर्देश दिए गए हैं। मुख्य सचिव ने स्पष्ट शब्दों में कहा—राष्ट्रपति का झारखंड दौरा एक गौरव का क्षण है, इसे गरिमामयी बनाने में कोई कसर नहीं छोड़ी जानी चाहिए।
