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July 1, 2025 6:53 pm

सरकारी पैसा गबन करने के मामले में पोस्टमास्टर को 3 वर्ष का कठोर कारावास एवं जुर्माना।

पाकुड़: शुक्रवार को अनुमंडल न्यायिक दंडाधिकारी सदिश उज्जवल बेक के न्यायालय ने दोषी पोस्टमास्टर केदारनाथ मजूमदार को जीआर वाद संख्या 355/24 में आईपीसी की धारा 409 के तहत अपराध के लिए तीन साल की कठोर कारावास और 10000/- रुपये (दस हजार रुपये) का जुर्माना जुर्माने की सजा सुनाई जुर्माना न भरने पर 2 महीने के लिए अतिरिक्त कठोर कारावास की सजा काटनी होगी। इसके अलावा, दोषी केदारनाथ मजूमदार को आईपीसी की धारा 420,467, 468,471 के तहत अपराध के लिए 3 साल के लिए कठोर कारावास की सजा भी दी गई। सभी सजाए एक साथ चलेंगी।

क्या था मामला

पाकुड़ मुफस्सिल थाना में दिनांक 08.03.23 में दर्ज कांड संख्या 48/24 के तहत दिवाकर मंडल का आरोप था कि उन्होंने वर्ष 2015 में झिकरहट्टी सरकारी डाकघर में पोस्टमास्टर केदारनाथ मजूमदार के माध्यम से ग्रामीण डाक जीवन बीमा खाता खुलवाया था,और इसके लिए एक पासबुक भी जारी किया गया था। जिस खाते में वे प्रति माह 1114 रुपये जमा करते थे और 84 महीने तक जमा करते रहे यानी कुल 93,576 रुपये जमा किए। आगे यह भी आरोप लगाया कि जनवरी 2019 में फिर से उन्होंने एक और डाक जीवन बीमा पॉलिसी खोली और इस खाते में उन्होंने 47 महीने तक प्रति माह 3325 रुपये जमा किए यानी इस खाते में कुल 1,56,275 रुपये जमा किए। आगे यह भी आरोप था कि बाद में वे पाकुड़ स्थित प्रधान डाकघर गए और दोनों खातों की स्थिति की जानकारी ली तो उन्हें पता चला कि जो खाता खोला गया था, उस खाते में कोई राशि जमा नहीं की गई थी। इसके अलावा उन्हें पता चला कि दूसरा खाता भी नहीं खोला गया था, लेकिन केदारनाथ मजूमदार ने एक फर्जी खाता खोलकर उनसे पूरी राशि ले ली थी। बाद में वह आरोपी के पास गए और फिर आरोपी ने उनसे कहा कि उनकी पूरी राशि वापस कर दी जाएगी, लेकिन उन्होंने इसे वापस नहीं किया। यह भी आरोप लगाया था कि बाद में सूचक को पता चला कि केदारनाथ मजूमदार ने अर्चना दत्ता, ओजीब एसके, अजिकुल एसके, डूली मंडल और अन्य के नाम पर भी फर्जी खाता खोला था और लाभार्थियों से एकत्र की गई पूरी राशि का गबन किया था। अभियोजन पक्ष से लोक अभियोजक मौसमी मुर्मू ने अपना पक्ष रखा।

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