राहुल दास
हिरणपुर (पाकुड़): शुक्रवार देरशाम को बाबा मनोकामना नाथ मंदिर समिति द्वारा आयोजित सप्ताहव्यापी भागवत कथा सह ज्ञान यज्ञ में वृंदावन से पधारे कथावाचक आचार्य पीयूष कौशिक जी महाराज ने प्रवचन देते हुए कहा।जहां भागवत कथा होती है , उस स्थल पर सभी तीर्थ गंगा , यमुना व सरस्वती का निवास होता है। जो काफी पवित्र रहता है।भागवत कथा की श्रवण करने को लेकर हजारो की संख्या में महिला पुरुष उपस्थित थे। जहां कथा प्रारम्भ होने के पूर्व श्रीराम व बजरंगबली की मनमोहक झांकी की प्रस्तुति की गई। कथा वाचक ने कहा कि भागवत कथा को श्रवण करना व इसे आत्मसात करना अति आवश्यक है। कथा से हम अपने धर्म , विचार व पथ को जान सकते है। भागवत कथा से हम भगवान को पा सकते है। इससे हमें मोक्ष की प्राप्ति होती है। पर भागवत कथा को श्रवण करना ही सम्पूर्ण नही है। इसे जीवन के पथों में अंगीकार करना भी है। भगवान की शरण मे अपने को समर्पित करना भी है। उन्होंने भागवत कथा के महत्व व उपयोगिता के बारे में विस्तृत रूप से लोगो को जानकारी दिया व ऋषि सौनक व सूत जी का प्रसंग का विस्तारपूर्वक बताया। उन्होंने कहा कि भागवत कथा श्रवण करने के लिए सबसे पहले हनुमान जी ही पहुंचे थे। कथा के दौरान कथावाचक के द्वारा धार्मिक गीतों की भी प्रस्तुति की गई। जिसे सुन उपस्थित दर्शक भावविभोर हो उठे। इस अवसर पर आयोजक कमिटी के जयशिव यादव , नन्दलाल यादव , झरीलाल साहा , एतवारी साहा , मोहनलाल भंगत आदि उपस्थित थे।